न्यायालय की गरिमा और नियमों का पालन अनिवार्य है। ऐसे में विशेषकर वकालत के गौरवशाली प्रोफेशन में कोर्टरूम की मर्यादा बनाए रखना और पेशेवर ड्रेस कोड का पालन करना लाजमी हो जाता है, फिर चाहे वह प्रत्यक्ष हो या फिर वे वर्चुअल पेशी कर रहे हों। दिल्ली हाईकोर्ट में अधिवक्ताओं के लिए अनिवार्य गाउन नियम बहाल कर दिया गया है। 27 अक्टूबर से वकीलों को इस अदालत में गाउन पहनकर ही पेश होना होगा।
दिल्ली हाईकोर्ट ने एक नोटिस जारी कर वकीलों के लिए अदालत में पेश होने के दौरान गाउन पहनना अनिवार्य कर दिया। यह नियम 27 अक्टूबर, 2025 से प्रभावी होगा।
10 अक्टूबर, 2025 के नोटिस में रजिस्ट्रार जनरल अरुण भारद्वाज ने कहा कि यह नया निर्देश इसी मामले पर अदालत द्वारा 20 फरवरी, 2025 को जारी किए गए पूर्व नोटिस का स्थान लेता है।
नोटिस में लिखा था, “इस न्यायालय के दिनांक 20-02-2025 के नोटिस नंबर 543/G-11/General-II/DHC/2025 के स्थान पर यह अधिसूचित किया जाता है कि इस न्यायालय में पेश होने वाले वकीलों को 27 अक्टूबर, 2025 (सोमवार) से अगले आदेश तक गाउन पहनना अनिवार्य है।”
प्रशासन ने निर्देश दिया कि नोटिस को लगातार तीन दिनों तक दैनिक वाद सूची के प्रथम पृष्ठ पर प्रकाशित किया जाए तथा हाईकोर्ट की आधिकारिक वेबसाइट पर अपलोड किया जाए ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि बार के सभी सदस्यों तक इसकी सूचना पहुंच जाए।