साल 2021-22 में बेटी के NEET (National Eligibility cum Entrance Test) में सफल होकर किसी मेडिकल कॉलेज में दाखिले की तैयारी की खुशी मना रहे एक परिवार के साथ लाखों रुपए की ठगी का मामला सामने आया है। करीब ढाई साल पहले इस छात्रा को मेडिकल कॉलेज में प्रवेश दिलाने के बहाने पश्चिम बंगाल के चार लोगों ने बांकीमोंगरा के एक परिवार से 20 लाख की ठगी की। पीड़ित की रिपोर्ट पर पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ केस दर्ज कर लिया है।
कोरबा(theValleygraph.com)। पुलिस से मिली जानकारी अनुसार बांकीमोंगरा निवासी हरनारायण देवांगन की बेटी ईशा देवांगन ने वर्ष 2021-22 में नीट की परीक्षा उत्तीर्ण की। परिणाम जारी होने के बाद 31 मार्च 2022 को छात्रा के रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर कॉल आया। इसमें सामने वाले ने खुद का नाम रंजीत पांडे बताया और पश्चिम बंगाल के दुर्गापुर मेडिकल कॉलेज में एडमिशन कराने की बात कही। विश्वास में लेकर उसने सीट बुकिंग के नाम पर हरनारायण देवांगन से 50 हजार रुपए ट्रांसफर करा लिए और फिर कुछ दिन बाद दुर्गापुर बुलाया। दुर्गापुर में उन्हें राहुल बावरे, सौरभ झा और सौरव दत्ता नामक व्यक्ति से भेंट कराया गया। छात्रा के प्रमाण पत्र मेडिकल कॉलेज में जमा करने की बात कह मांगा गया। इसके साथ ही फीस व अन्य खर्च बताकर 20 लाख ठग लिए। उस दिन एडमिशन नहीं होने पर उन्होंने पोर्टल बंद होने का बहाना बनाया और कॉलेज में फीस जमा हो जाने की बात कहकर 10 से 15 दिन बाद काम होने जाने की बात कही। कुछ दिन बाद राहुल ने दुर्गापुर में एडमिशन नहीं हो पाने का हवाला देते हुए चार लाख अतिरिक्त खर्च करने पर चेन्नई स्थित एक अन्य मेडिकल कॉलेज में एडमिशन कराने की बात कही। ठगी का आभास होने पर देवांगन परिवार ने उन्हें फिर से रकम नहीं भेजी। इसके उपरांत किसी तरह उन्होंने ईशा का दाखिला मेडिकल कॉलेज में कराया। पीड़ित हरनारायण ने बांकीमोंगरा थाने में अपने साथ हुई घटना की रिपोर्ट दर्ज कराई। पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ ठगी का केस दर्ज कर लिया है।
सालभर पहले बिलासपुर से भी आया था 15 लाख 50 हजार ठगी का इसी तरह का मामला
करीब एक साल पहले मेडिकल कालेज में एडमिशन दिलाने का झांसा देकर बीएसएनएल अधिकारी से 15 लाख रुपए की धोखाधड़ी करने का मामला सामने आया है। बिलासपुर के अफसर ने अपनी बेटी को MBBS में दाखिला दिलाने के लिए ठगों को पैसे दिए थे। दो साल तक एडमिशन नहीं होने और पैसे नहीं लौटाने पर उन्होंने पुलिस से शिकायत की है। बताया जा रहा है कि ठगों का एक गिरोह है, जो मेडिकल कॉलेजों में एडमिशन दिलाने के नाम पर देश के कई राज्यों में ठगी करते हैं।
राजकिशोर नगर स्थित BSNL कॉलोनी निवासी की बेटी पल्लवी NEET एग्जाम की तैयारी कर रही थी। साल 2021 में NEET का रिजल्ट आने के बाद उनके पल्लवी के मोबाइल पर सरकारी मेडिकल कॉलेज में दाखिले के लिए मैसेज आया, जिसके बाद अनजान नंबर से फोन भी किया गया। इस दौरान उन्हें बताया गया कि गर्वनमेंट मेडिकल कॉलेज में सेंट्रल पुल के कोटे पर उनकी बेटी का एडमिशन हो जाएगा, जिसके लिए उन्हें 35 लाख रुपए देना पड़ेगा। इसके लिए वे तैयार हो गए। इस दौरान उन्होंने बतौर एडवांस 50 हजार रुपए लिए। अफसर ने पुलिस को बताया कि इसके बाद उनसे प्रोफेसिंग फीस सहित अलग-अलग बहाने से किश्तों में पैसों की डिमांड की गई। इस दौरान उनसे करीब 15 लाख 50 हजार रुपए वसूल लिए गए। इसके बाद भी अधिकारी की बेटी का एडमिशन मेडिकल कालेज में नहीं हुआ। तब उन्होंने अपने पैसे वापस मांगे। इस पर जालसाजों ने टालमटोल करना शुरू कर दिया। धोखाधड़ी की जानकारी होने पर अधिकारी ने पूरे मामले की शिकायत सरकंडा थाने में की।
कोलकाता, सहित कई राज्यों के बैंक अकाउंट में भेजे थे पैसे, कई राज्यों में ऐसे केस
अफसर को झांसा देकर कोलकाता के एसबीआई, रसलूगढ़ के बैंक सहित कई जगहों के अकांउट डिटेल भेजकर किश्तों में पैसे जमा कराए। उन्होंने ज्यादातर पैसों का ऑनलाइन ट्रांजेक्शन किया था। जब पैसे नहीं मिले, तब उन्होंने ठग गिरोह की जानकारी जुटाई। उन्हें पता चला कि मेडिकल कॉलेजों में एडमिशन दिलाने वाला गिरोह है, जो देश के कई राज्यों में इस तरह की ठगी करते हैं। इस गिरोह के लोगों ने कई युवाओं व उनके परिजनों से इसी तरह रकम वसूल लेते हैं।