रायपुर(thevalleygraph.com)। छत्तीसगढ़ में एजुकेशन डिपार्टमेंट में तहलका मचा देनेवाले शिक्षक पोस्टिंग स्कैम को लेकरवेक बड़ी ख़बर आ रही है। बताया जा रहा है कि CM भूपेश बघेल ने इसके लिए सहमति दे दी है। इससे पहले स्कूल शिक्षा मंत्री रविंद्र चौबे ने चार ज्वाइंट डायरेक्टरों को सस्पेंड कर दिया था। अब इस मामले में भूपेश सरकार बड़ी कार्रवाई करने की तैयारी में है। खबर यह है कि सरकार ने हाई कोर्ट में केविएट दायर कर दिया। ताकि कार्रवाई के बाद किसी को एकतरफा स्टे न मिल जाए। शिक्षा मंत्री रविंद्र चौबे ने चार ज्वाइंट डायरेक्टरों को सस्पेंड कर के बाद खुले तौर पर कहा था कि सहायक शिक्षकों से शिक्षक पदोन्नति के बाद पोस्टिंग में जितने भी संशोधन हुए हैं, वे सभी रद्द किए जाएंगे। कल भी उनका बयान आया था कि निरस्तीकरण की फाइल समन्वय में भेजी गई है और सीएम ही समन्वय के प्रमुख होते हैं। उल्लेखनीय होगा कि आयुक्तों के प्रतिवेदन आने के बाद शिक्षा विभाग ने पांच में से चार ज्वाइंट डायरेक्टर और एक लिपिक को निलंबित कर दिया। प्रदेश में बड़ी संख्या में सहायक शिक्षक से शिक्षक मे प्रमोशन हुआ था।
ऐसे हुआ पोस्टिंग के लिए लाखों का खेला
पदोन्नति का नियम कहता है कि पदोन्नति हुई जब स्थानांतरण होता है। इसमें शहरों के आसपास के स्कूलों को वेबसाइट पर शो नहीं किया गया। कहने का आशय यह है कि उसे चतुराई से छिपा लिया गया। मजबूरी में शिक्षकों को दूसरे जिलों में पोस्टिंग लेनी पड़ी। शिक्षकों ने जब वहां ज्वाईन कर लिया तब ज्वाइंट डायरेक्टर के दफ्तर से रकम डिमांड कर कॉल किए गए कि उन्हे उनकी पसंद की पोस्टिंग मिल जाएगी। पोस्टिंग संशोधन के नाम पर डेढ़ से दो लाख रुपए लिए गए। इसमें करोड़ों का खेल किया गया। सबसे पहले बिलासपुर का मामला आया और बाद में पता चला कि पांचों संभागों में पोस्टिंग संशोधन का खेल धड़ल्ले से खेला गया। इसमें शिक्षक नेताओं से लेकर जनप्रतिनिधियों तक ने बहती गंगा में जमकर डूबकी लगाई।